कलेक्टर जनदर्शन में आज एक महिला शिकायत लेकर पहुंची कि पथरी के आपरेशन के बहाने उसके बेटे की किडनी डॉक्टर ने निकाल ली। 

जनदर्शन में पहुंची कुरैशा बेगम ने बताया कि उसके पुत्र जुनेद उर्फ सुहेल उम्र 26 को पेट में दर्द होने पर सरकण्डा के डॉक्टर के के साव को दिखाया। उन्होंने बताया कि सुहेल को पथरी है। उसके पेट में 4 व 12 एमएम का पत्थर है। इसको निकालने के लिए ऑपरेशन करना पड़ेगा। इसके बाद उसने अपने बेटे का ऑपरेशन वर्ष 2011 में डॉ साव से कराया। ऑपरेशन के लिए डॉक्टर को कुरैशा ने दस हजार रुपए दिए। इसके बाद भी उसके बेटे की तबीयत ठीक नहीं हुई तब वह फिर से डॉ साव के पास गई। उसने डॉ नेमा मसानगंज से आईओपी कराने कहा। आईओपी में पता चला कि उसके बेटे के पेट में तीन पत्थर है और उसकी किडनी काम नहीं कर रही है। इसके बाद कुरैशा डॉ साव के अस्पताल पहुंची और उसने कहा कि मेरे बेटे की एक किडनी काम नहीं कर रही है उसके पेट में तीन पत्थर है। इस पर डॉ साव ने कहा कि मुझे तो ऑपरेशन करते समय पत्थर नहीं मिला। इसके जवाब में कुरैशा ने कहा कि आपने तो कहा था कि पेट में पत्थर है और उसे निकालने के दस हजार रुपए भी लिए थे। इसके बाद डॉक्टर ने उसकी एक नहीं सुनी। इसके बाद कुरैशा ने अपने बेटे सुहेल को रायपुर स्थित किडनी सेंटर में डॉ. शुभ्रा दुबे को दिखाया। वहां पता चला कि किडनी में टीबी है। डॉ शुभ्रा ने उसे जांच के लिए डॉ. प्रशान्त भागवत, रायपुर के पास भेजा। वहां आराम नहीं मिलने पर वापस आकर सिम्स बिलासपुर में प्रदीप सोनी ने आपरेशन कराया, जो फेल हो गया। डॉ. सोनी ने बताया कि सुहेल का किडनी अतड़ी में चिपक गई है, इसलिए इसका ऑपरेशन नहीं हो सकता। इसके बाद परेशान होकर कुरैशा ने 2018 में नागपुर के इंदिरा गांधी वैद्यकीय शासकीय अस्पताल में इलाज कराया। वहां डाक्टरों ने बताया कि उसके पुत्र की एक किडनी नहीं है। बहुत पहले ही निकाली जा चुकी है। इसके बाद जनदर्शन में पहुंचकर कुरैशा ने कलेक्टर के नाम आवेदन लिखकर जिम्मेदार डॉक्टर पर कार्रवाई करते हुए न्याय की मांग की।

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