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बेदखली के बाद दुधमुंहे बच्चे को लेकर मां पहुंची कलेक्टोरेट, अफसरों के पास जवाब नहीं था….

गोद में दुधमुंहे बच्चे को लेकर एक मां ने इस तरह सड़क पर रात बिताई अटल आवास से बेदखल होने के बाद।

  • अरपा परियोजना शुरू करने के लिए तीन कॉलोनियों के अटल आवास खाली कराये गये, लोग सड़क पर
बिलासपुर। लॉकडाउन, कोरोना और सामने शुरू हो रहे बारिश के मौसम के बीच अरपा परियोजना को शुरू करने के लिए प्रशासन द्वारा दिखाई जा रही हड़बड़ी ने कई परिवारों को बेघर कर दिया और वे सड़क पर आ गये।

इनमें से पीड़ित महिलाओं के साथ एक महिला जया भी पहुंची थी जिसकी गोद में तीन माह का बच्चा भी था। उनका ज्ञापन लेने के लिए कलेक्टोरेट के बाहर निकले एडिशनल कलेक्टर, एएसपी आदि के सामने वह रो-रोकर पूछ रही थी कि अब वह कहां जाये। सरकंडा, बहतराई और इमली भाठा के अटल आवास में रहने वालों को दो-तीन दिन की नोटिस देकर, जो कई लोगों के पास पहुंची भी नहीं मकान खाली करने का आदेश दिया गया था। खाली नहीं करने पर पुलिस की मदद लेकर नगर-निगम ने इन्हें सामान सहित जबरन बाहर निकाल दिया। शनिवार और रविवार की पूरी रात इन लोगों ने सड़क के किनारे अपने घर के सामान, राशन और छोटे-छोटे बच्चों के साथ बिताया। आज दफ्तर खुलने के बाद ये लोग अधिकारियों के पास फरियाद करने पहुंचे। इन्होंने बताया कि कोरोना के कारण उन्हें कोई उन्हें किराये का मकान देने के लिये तैयार नहीं है। वे रोज, कमाने खाने वाले लोग हैं। किसी भी की हैसियत नहीं कि कोई दूसरा ठिकाना ढूंढ सकें। किसी ने साल तो किसी ने दो साल पहले आवास के लिए आवेदन दे रखा है पर नगर निगम में आवेदन दबे पड़े हैं। ये मकान खाली थे तो वे यहां रहने के लिए आ गये। इनमें से कई लोगों ने यह भी खुलासा किया है कि मकानों पर कब्जा करने के लिए उन्होंने स्थानीय नेताओं को बड़ी रकम दी है। इन नेताओं ने आश्वस्त किया था कि उन्हें कभी बेदखल नहीं किया जायेगा।

दूसरी ओर आज अरपा किनारे बसी झुग्गी बस्तियों और अनेक पक्के मकानों को भी तोड़ने की कार्रवाई सुबह सुबह शुरू कर दी गई। इलाके के पार्षद राजेश सिंह को कार्रवाई से पहले पुलिस ने उठा लिया और तोरवा थाने ले गई। यहां के निवासियों को आश्वस्त किया गया था कि इन्हें खाली कराये गये अटल आवास में शिफ्ट किया जायेगा। पर ये निवासी वहां जाने के लिये तैयार नहीं हुए और यहीं डटे रहे। इन्होंने विधायक और महापौर से मिलकर अपनी झोपड़ियों को बचाने की गुहार लगाई। विधायक ने कलेक्टर और नगर निगम आयुक्त को पत्र लिखकर उन्हें मानवता के आधार पर उनकी पूरी व्यवस्था करने का आग्रह किया पर कार्रवाई नहीं रुकी। आज पहले चरण में यहां 128 मकानों को तोड़ने की शुरूआत की गई है। कार्रवाई शुरू होते ही यहां के रहवासियों ने विरोध शुरू किया लेकिन पुलिस बल की मौजूदगी में तोड़-फोड़ की कार्रवाई शुरू कर दी गई। अरपा किनारे दोनों ओर से करीब 650 मकानों, झोपड़ियों को तोड़ने की योजना बनाई गई है।

भाजपा ने की कार्रवाई रोकने की मांग, सौंपा ज्ञापन

सांसद अरूण साव के नेतृत्व में कलेक्टर के नाम आज एक ज्ञापन भाजपा ने सौंपा जिसमें कहा गया है कि जब पूरा देश कोरोना से जूझ रहा हो तब गरीबों को उजाड़ने की कार्रवाई नहीं की जाये। अटल आवास, बहतराई, इमलीभाठा से बेदखली की कार्रवाई पूरी तरह रोकी जाये। ज्ञापन सौंपने वालों में बेलतरा विधायक रजनीश सिंह, नगर निगम में नेता प्रतिपक्ष अशोक विधानी तथा भाजपा के कई पार्षद शामिल थे।

आम आदमी पार्टी ने भी कलेक्टर को एक ज्ञापन प्रेषित कर कार्रवाई पर रोक लगाने कहा है। पार्टी के प्रदेश कोषाध्यक्ष जसबीर सिंह ने कहा है कि अरपा किनारे तथा सरकंडा, बहतराई के आवासों में रहने वालों की व्यवस्था करना सरकार तथा प्रशासन की जिम्मेदारी है। पहले आवास आबंटन की प्रक्रिया  शुरू की जाये उसके बाद कार्रवाई की जाये।

उल्लेखनीय है कि अरपा परियोजना के अंतर्गत शहर में अरपा नदी के ऊपर दो चेक डेम बनाया जायेगा ताकि यहां बारहों माह पानी रहे। इसके अलावा 820 मीटर रिवर-व्यू सड़क बनाई जायेगी जिससे नदी का कटाव रुके और शहर के भीतर यातायात का दबाव कम हो। इससे अरपा नदी का सौंदर्यीकरण भी होगा। परियोजना के लिए टेंडर की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है।

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