बिलासपुर। 540 करोड़ के कोयला लेवी घोटाले में गिरफ्तार इंद्रमणि कोल के डायरेक्टर सुनील अग्रवाल की जमानत अर्जी हाईकोर्ट ने दूसरी बार खारिज कर दी है। उसने स्वास्थ्य की समस्या के आधार पर जमानत मांगी थी। सरकार की ओर से बताया गया था कि जेल और अस्पताल में उसका इलाज ठीक तरह से किया जा रहा है।
प्रदेश में कांग्रेस शासनकाल के दौरान हुई कथित कोयला लेवी घोटाले में निलंबित आईएएस समीर विश्नोई, रानू साहू, राज्य प्रशासनिक सेवा की सौम्या चौरसिया, कारोबारी सूर्यकांत तिवारी, लक्ष्मीकांत तिवारी सहित 9 लोगों को ईडी ने पिछले दो साल के भीतर गिरफ्तार किया। हाईकोर्ट से अग्रिम जमानत अर्जी खारिज होने के बाद सुनील अग्रवाल की गिरफ्तारी 11 अक्टूबर 2022 को की गई थी। उस पर आरोप था कि 25 रुपये प्रति टन के हिसाब से कोल ट्रांसपोर्टिंग पर वसूली गई लेवी को उसने सूर्यकांत तिवारी और अन्य आरोपियों के लिए संपत्तियों में निवेश किया।
हाईकोर्ट में एक बार पहले भी अग्रवाल की जमानत अर्जी खारिज हो चुकी है। इस बार उसने मेडिकल आधार पर अर्जी लगाई। कोर्ट ने इस पर जेल प्रबंधन से स्वास्थ्य संबंधी रिपोर्टसहित जवाब मांगा था। जेल प्रबंधन की ओर से बताया गया कि दिसंबर 2022 से आरोपी लगातार जेल अस्पताल में है। उसका इलाज यूरोलॉजी विभाग के डॉक्टरों से कराया जा रहा है। जेल में इलाज हो रहा है। हाईकोर्ट ने सभी पक्षों को सुनने के बाद एक सप्ताह पहले आदेश सुरक्षित रख लिया था।

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